

District Magistrate Chandauli heard the grievances of complainants
संपूर्ण समाधान दिवस में उमडे लोग‚सभी मामलों का हो त्वरित निस्तारण
खबरी न्यूज नेशनल नेटवर्क
चकिया (चंदौली)। आदर्श नगर पंचायत चकिया के वार्ड नंबर 6 स्थित तहसील सभागार में जिलाधिकारी निखिल टीकाराम फुंडे की अध्यक्षता में संपूर्ण समाधान दिवस का आयोजन हुआ, जिसमें फरियादियों की भारी भीड़ उमड़ी। इस अवसर पर जिलाधिकारी ने न केवल फरियादियों से रूबरू होकर उनकी समस्याओं का समाधान किया, बल्कि संबंधित विभागीय अधिकारियों को त्वरित और न्यायपूर्ण समाधान के लिए आवश्यक दिशा-निर्देश भी दिए।
इस समाधान दिवस के दौरान 61 प्रार्थना पत्रों में से 5 प्रार्थना पत्रों का मौके पर ही निस्तारण किया गया, जबकि बाकी मामलों को संबंधित विभागों के अधिकारियों को शीघ्र समाधान के लिए सौंप दिया गया। जिलाधिकारी ने स्पष्ट रूप से निर्देश दिए कि सभी मामले समयबद्ध तरीके से हल किए जाएं ताकि लोगों को न्याय मिल सके।
धरना देने पहुंचे लोग, नगर पंचायत टैक्स पर उठाई गंभीर चिंता
एक प्रमुख घटना के रूप में, इस दिन कुछ लोग हाउस टैक्स और वाटर टैक्स में वृद्धि के खिलाफ धरने पर बैठे हुए थे। इन लोगों ने जुलूस की शक्ल में नारेबाजी करते हुए समाधान दिवस में प्रवेश किया और जिलाधिकारी से टैक्स को समाप्त करने की मांग करते हुए ज्ञापन सौंपा। किसान नेता लाल चंद्र सिंह ने बताया कि यह धरना गांधी पार्क में पिछले कई दिनों से जारी था, जिसमें उनकी मुख्य मांगें थीं—वाटर और हाउस टैक्स को तत्काल प्रभाव से रद्द किया जाए, और जल कर मूल्य न लिया जाए, खासकर उन लोगों से जिन्होंने पानी का कनेक्शन नहीं लिया है।
किसान नेताओं ने जिलाधिकारी से यह भी आग्रह किया कि यह समस्या गंभीर है और नगर के नागरिकों की परेशानियां बढ़ रही हैं, जिसके चलते उन्होंने समाधान के लिए जल्द कदम उठाने की अपील की। जिलाधिकारी ने इस मुद्दे को गंभीरता से लिया और संबंधित अधिकारियों से जल्द समाधान का आश्वासन दिया।
दिव्यांग की पेंशन मामले में जिलाधिकारी का हस्तक्षेप
एक और अहम मामला, जो समाधान दिवस में सामने आया, वह था केराडीह गांव निवासी 25 वर्षीय दिव्यांग बिंदु के दिव्यांग पेंशन से संबंधित। बिंदु की माता-पिता, गुरु चंद चौहान और सविता देवी, ने जिलाधिकारी से निवेदन किया कि उनकी बेटी को वर्ष 2021 से दिव्यांग पेंशन नहीं मिल रही है, क्योंकि उसका आधार कार्ड नहीं बन पा रहा है। इस वजह से उनकी बेटी की पेंशन बंद हो गई थी। माता-पिता ने जिलाधिकारी से तीसरी बार पेंशन के नवीकरण की अपील की थी।
जिलाधिकारी ने इस मामले को गंभीरता से लिया और संबंधित विभाग के अधिकारियों को बुलाकर निर्देश दिए कि किसी भी पात्र दिव्यांग को पेंशन मिलना चाहिए, और यह मामला जल्द से जल्द सुलझाया जाए। इस निर्देश के बाद अधिकारीगण तत्काल पेंशन बहाल करने के लिए कार्रवाई करेंगे।

सिंचाई विभाग और बंधी डिवीजन के अधिकारियों के आवासीय मुद्दे पर जिलाधिकारी ने दिए निर्देश
इसके अलावा, किसान नेताओं वीरेंद्र पाल और धीरेंद्र श्रीवास्तव ने सिंचाई विभाग और बंधी डिवीजन के अधिकारियों के बारे में एक महत्वपूर्ण मुद्दा उठाया। उन्होंने बताया कि इन विभागों के अधिकारियों को सरकारी आवासीय सुविधाएं दी गई थीं, लेकिन वे अधिकारी और कर्मचारी इन आवासों में निवास नहीं कर रहे हैं, जिससे कार्य में प्रभावी ढंग से गति नहीं मिल रही।
जिलाधिकारी ने इस मामले को गंभीरता से लिया और उप जिलाधिकारी को निर्देशित किया कि वह इस संबंध में जांच करें और जो भी अधिकारी आवास में नहीं रह रहे हैं, उनके खिलाफ आवश्यक कार्रवाई करें।
समाधान दिवस में उपस्थित अधिकारियों की उपस्थिति
इस समाधान दिवस में मुख्य चिकित्सा अधिकारी युगल किशोर राय, एसडीएम चकिया विकास मित्तल, तहसीलदार संदीप कुमार श्रीवास्तव, क्षेत्राधिकारी राजीव सिसोदिया, अधिशासी अभियंता चंद्रप्रभा, प्रखंड सर्वेश चंद्र सिन्हा, और नगर पंचायत चकिया के अधिशासी अधिकारी संतोष कुमार चौधरी सहित अन्य विभागों के अधिकारी और कर्मचारी उपस्थित रहे। सभी अधिकारियों ने समाधान दिवस के दौरान अपने-अपने विभाग से संबंधित मामलों को प्राथमिकता दी और जिले के विकास और समस्याओं के समाधान में अपनी भूमिका निभाई।
जिला प्रशासन की संवेदनशीलता और तत्परता
जिलाधिकारी निखिल टीकाराम फुंडे के नेतृत्व में यह समाधान दिवस न केवल प्रशासन की तत्परता को दर्शाता है, बल्कि यह भी दिखाता है कि प्रशासन अपनी जिम्मेदारियों को समझते हुए जनसुविधाओं के समाधान में सक्रिय रूप से संलग्न है। जिलाधिकारी का मानना है कि प्रशासन का मुख्य उद्देश्य जनता की समस्याओं का तत्काल समाधान करना है, और इसके लिए विभागीय अधिकारियों को जिम्मेदारी के साथ कार्य करने का निर्देश दिया गया है।
प्रशासन जनता की समस्याओं के प्रति पूरी तरह से संवेदनशील
यह संपूर्ण समाधान दिवस जनता और प्रशासन के बीच संवाद को मजबूती देने के साथ-साथ यह भी दर्शाता है कि जब जनहित की बात होती है, तो प्रशासन हर संभव प्रयास करता है। जिलाधिकारी निखिल टीकाराम फुंडे की सक्रियता और संबंधित अधिकारियों के त्वरित निर्णय से यह सिद्ध हो गया कि प्रशासन जनता की समस्याओं के प्रति पूरी तरह से संवेदनशील है और उनका समाधान तत्काल किया जाता है।
अब देखना यह होगा कि जिन समस्याओं के समाधान के लिए आदेश दिए गए हैं, वे कितनी जल्दी और प्रभावी ढंग से हल होती हैं, और इस प्रक्रिया में जनता के विश्वास को कितना बढ़ावा मिलता है।